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रायपुर/ छत्तीसगढ़ बोर्ड की दसवीं और बारहवीं की परीक्षाएं साल में दो बार होंगी। नई व्यवस्था शिक्षा सत्र 2025-26 से लागू होगी। राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी)के तहत यह बदलाव होगा। प्रदेश में इसके लिए जल्द व्यवस्था शुरू होगी। अभी बोर्ड एग्जाम साल में एक बार आयोजित किए जाते हैं। इस बार की परीक्षा 1 मार्च से शुरू हाे रही है। इसमें करीब सवा छह लाख छात्र शामिल होंगे।
जानकारों का कहना है कि नई व्यवस्था से छात्रों को फायदा होगा। इससे बोर्ड एग्जाम को लेकर छात्रों का तनाव कम होगा। कोर्स अलग-अलग हिस्सों में बंटेगा। इसका भी फायदा छात्रों को मिलेगा। दो बार बोर्ड एग्जाम की नई व्यवस्था लागू होने का आशय है कि जून 2024-25 में जो सत्र शुरू होगा वह सिंगल बोर्ड एग्जाम का आखिरी सत्र होगा। उधर, सीबीएसई की भी 10वीं-12वीं परीक्षा साल में दो बार आयोजित करने की तैयारी है।
पिछले दिनों केंद्रीय शिक्षा मंत्री धमेंद्र प्रधान ने राजधानी के एक कार्यक्रम में शामिल हुए। वहां उन्होंने कहा कि शैक्षणिक सत्र 2025-26 से साल में दो बार सीबीएसई के छात्रों को बोर्ड परीक्षा में बैठने का विकल्प दिया जाएगा। इसे लेकर अब माना जा रहा है कि साल में दो बार बोर्ड एग्जाम को लेकर सीबीएसई से निर्देश जारी किए जाएंगे।
यह होगा फायदा
- छात्रों व माता पिता का तनाव कम होगा।
- कोर्स दो भागों में होने से पढ़ाई में आसानी।
- मूल्यांकन सही से होगा।
- हर चैप्टर को सामान वैटेज मिलेगा।
- शिक्षकों को कोर्स पूरा करने में सुविधा।
राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत छत्तीसगढ़ बोर्ड की 10वीं-12वीं परीक्षा साल में दो बार आयोजित की जाएगी। यह व्यवस्था 2025-26 से लागू की जाएगी। दो बार परीक्षा होने से छात्रांे का तनाव कम होगा।
-बृजमोहन अग्रवाल, स्कूल शिक्षा मंत्री..