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अंबिकापुर, सरगुजा// इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट ने पुलिस और साइबर सेल को अलर्ट मोड में डाल दिया। अंबिकापुर निवासी युवक ने सोमवार दोपहर एक ऐसा पोस्ट किया, जिसने सभी को चौंका दिया। उसने लिखा था कि वह शाम 7 बजे लाइव आकर फांसी लगाएगा। किस्मत से यह पोस्ट सीधे मेटा की मॉनिटरिंग में आ गया और इमरजेंसी अलर्ट के जरिए युवक की जान बचा ली गई।
4:10 बजे अलर्ट, 7 बजे की धमकी
सोमवार शाम करीब 4:10 बजे इंदौर साइबर सेल को मेटा (इंस्टाग्राम) से सुसाइड अलर्ट मिला। युवक ने अपने पोस्ट में न केवल आत्महत्या का इरादा जताया था, बल्कि इसका समय भी साफ तौर पर लिखा था – शाम 7 बजे लाइव फांसी। साथ ही कुछ लोगों को अपनी हालत का जिम्मेदार बताया था।
इंदौर से अंबिकापुर तक दौड़ी टीम
अलर्ट मिलते ही इंदौर साइबर सेल के एएसआई राम बाजपेई और कांस्टेबल राकेश बामनिया ने बिना वक्त गंवाए छत्तीसगढ़ के सरगुजा साइबर सेल को जानकारी दी। स्थानीय पुलिस एक्टिव हुई और नगर पुलिस अधीक्षक रोहित शाह के निर्देश पर युवक की तलाश शुरू हो गई।
स्थानीय पार्षद की मदद से मिला ठिकाना
पुलिस टीम ने वार्ड पार्षद कलीम की मदद ली, जिन्होंने युवक का पता बताया। जब टीम युवक के घर पहुंची, तो वह अपने कमरे में अकेला था और तैयारी कर रहा था। माता-पिता को बुलाया गया और पुलिस ने वक्त रहते उसे फांसी लगाने से रोक लिया।
फिलहाल युवक सुरक्षित है और परामर्श जारी है।
पुलिस की तत्परता, मेटा की तकनीकी निगरानी और समाज की थोड़ी सी भागीदारी से एक जान बच गई। यह घटना सोशल मीडिया पर निगरानी और मेंटल हेल्थ को लेकर नई बहस छेड़ती है।
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