नम आंखों से शहीद बेटे कर्नल विप्लव त्रिपाठी व उनके परिवार को दी गई अंतिम विदाई, अंतिम दर्शन के लिए उमड़ा जनसैलाब..

शेयर करें...

रायगढ़// एयरपोर्ट पर मौजूद उच्च शिक्षा मंत्री उमेश पटेल, स्थानीय विधायक प्रकाश नायक, लैलूंगा विधायक चक्रधर सिदार, सांसद गोमती साय, कलेक्टर, एसपी व अन्य लोगों के द्वारा शहीद को भावभीनी श्रद्धांजलि दी गई। जिसके बाद शाहिद परिवार को शहर की सड़कों से होते हुए उनके घर कोतवाली थाने के पीछे किरोड़ीमल कॉलोनी लाया गया। जहां सैकड़ों की संख्या में लोगों की भीड़ इक्कट्ठि थी।

Join WhatsApp Group Click Here

निवास स्थान के बाद तीनों शहीद के पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए रामलीला मैदान लाया गया। जहां अंतिम दर्शन और रायगढ़ के लाल को श्रद्धांजलि देने हेतु हजारों लोगो की भीड़ रामलीला मैदान में खचाखच भरी हुई थी।

रामलीला मैदान में सेना के जवानों के द्वारा शहीद कर्नल को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। जिसके बाद उनकी अंतिम यात्रा रामलीला मैदान से शुरू होकर सक्तीगुड़ी चौक, स्टेशन चौक, गांधी चौक, सुभाष चौक होते हुए पुरानी हटरी गांजा चौक चांदनी चौक होते हुए सर्किट हाउस स्थित मुक्तिधाम के लिए पहुंची। जहां सूर्यास्त के पहले उनका अंतिम संस्कार किया गया।

सीएम भूपेश बघेल ने श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए ट्वीट किया। जिसमें उन्होंने लिखा कि शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाठी, उनकी धर्मपत्नी श्रीमती अनुजा त्रिपाठी और पुत्र अबीर त्रिपाठी की शहादत को हम सब कोटि-कोटि नमन करते हैं।

कर्नल विप्लव के दादा किशोरी मोहन त्रिपाठी जोकि संविधान निर्माता समिति के सदस्य थे। वे रायगढ़ के प्रथम मनोनीत सांसद भी नियुक्त हुए थे। शहीद के पिता सुभाष त्रिपाठी एक अखबार के संपादक और वरिष्ठ पत्रकार हैं। इनकी मां पेशे से डॉक्टर हैं और अनाथालय में मुफ्त सेवाएं देती हैं। विप्लव के छोटे भाई अनय त्रिपाठी भी भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट कर्नल हैं। शहीद कर्नल विप्लव क जन्म 1980 में हुआ था। उनकी शुरुआती पढ़ाई रायगढ़ में ही हुई। इसके बाद वे पढ़ने के लिए मध्य प्रदेश के रीवा स्थित सैनिक स्कूल चले गए। साल 2001 में उन्होंने सेना जॉइन की थी। नौकरी करते हुए उन्होंने डिफेंस स्टडीज में एमएससी किया। इसके बाद उन्हें प्रमोशन दिया गया और उनकी तैनाती असम राइफल्स में की गई।

Scroll to Top